खतरनाक होता जा रहा चक्रवाती तूफान 'बिपरजॉय', 3 राज्यों में सबसे ज्यादा खतरा
अरब सागर में उठा चक्रवाती तूफान बिपरजॉय अब खतरनाक रूप धारण करता जा रहा है। भारतीय मौसम विभाग (IMD) के मुताबिक, अगले 24 घंटों में यह खतरनाक तूफान में तब्दील हो जाएगा। बुधवार सुबह 5:30 बजे जारी बुलेटिन में आईएमडी ने बताया कि अगले तीन से चार दिनों में तूफान की गति 135-145 किमी प्रति घंटे रहेगी। इसका सबसे ज्यादा असर महाराष्ट्र, गोवा, लक्षद्वीप और कर्नाटक में देखने को मिलेगा। मछुआओं को समुद्र से दूर रहने को कहा गया है।

नई दिल्ली। अरब सागर में उठा चक्रवाती तूफान बिपरजॉय अब खतरनाक रूप धारण करता जा रहा है। भारतीय मौसम विभाग (IMD) के मुताबिक, अगले 24 घंटों में यह खतरनाक तूफान में तब्दील हो जाएगा। बुधवार सुबह 5:30 बजे जारी बुलेटिन में आईएमडी ने बताया कि अगले तीन से चार दिनों में तूफान की गति 135-145 किमी प्रति घंटे रहेगी। इसका सबसे ज्यादा असर महाराष्ट्र, गोवा, लक्षद्वीप और कर्नाटक में देखने को मिलेगा। मछुआओं को समुद्र से दूर रहने को कहा गया है।
चक्रवाती तूफान से 10 जून तक खतरा
इस चक्रवाती तूफान के कारण 10 जून तक मौसम पर असर दिखा दे सकता है। आशंका जताई जा रही है कि इसका असर मानसून पर भी पड़ सकता है।मानसून को लेकर भारतीय मौसम विभाग का एक जून और फिर चार जून का पूर्वानुमान गलत साबित हो चुका है।
मौसम विज्ञानियों का मानना है कि यह चक्रवात केरल की तरफ बढ़ रहे मानसून के रास्ते में भी रोड़े अटका रहा है। यह चक्रवाती तूफान ही तय करेगा कि मानसून की गति और स्थिति क्या होगी।
मानसून में देरी से वर्षा की मात्रा पर असर नहीं होगा
दो अनुमान गलत होने के बाद आईएमडी के तीसरे अपडेट को लेकर भ्रम बना हुआ है। सामान्यतः एक जून को मानसून केरल में प्रवेश करता है और जून के अंत तक देश के अधिकांश हिस्सों में छा जाता है। पिछली बार केरल में मानसून का प्रवेश 29 मई को हो गया था।
मौसम विज्ञानियों का कहना है कि मानसून में विलंब का मतलब यह नहीं है कि वर्षा कम होगी। देरी से वर्षा की मात्रा पर असर नहीं होगा। आईएमडी ने पहले ही स्पष्ट कर दिया है कि अल नीनो के बावजूद देश में सामान्य वर्षा होगी।