सरहद पर बढ़ी सख्ती, बॉयोमैट्रिक से गुजरेंगे किसान
नई दिल्ली। भारत-पाक बॉर्डर पर पड़ोसी देश की तरफ से बढ़ते ड्रोन हमलों का मुकाबला करने के लिए सीमा सुरक्षा बल ने एंटी ड्रोन सिस्टम तैनात किए गए हैं।
नई दिल्ली। भारत-पाक बॉर्डर पर पड़ोसी देश की तरफ से बढ़ते ड्रोन हमलों का मुकाबला करने के लिए सीमा सुरक्षा बल ने एंटी ड्रोन सिस्टम तैनात किए गए हैं। बीएसएफ ने बॉर्डर पार जाकर खेती-किसानी करने वाले किसानों के लिए भी बायोमेट्रिक मशीनें लगाने का काम शुरू कर दिया है। इसके लिए पंजाब से लगी बॉर्डर पर बाड़ लगाने से पहले दूसरी तरफ जमीन रखने वाले किसानों का रजिस्ट्रेशन किया जा रहा है। इस सिस्टम में हैंड-हेल्ड स्टैटिक, व्हीकल-माउंटेड एंटी-ड्रोन सिस्टम शामिल हैं। इतना ही नहीं, बॉर्डर पर लगी फ्लड लाइट्स को एलईडी से बदला जा रहा है।
देश की बाकी अंतरराष्ट्रीय
सीमाओं पर ईएसवीपी (कमजोर पैच की इलेक्ट्रॉनिक निगरानी) प्रोजेक्ट चल रहा है। इसे पाकिस्तान, बांग्लादेश बॉर्डर यानी जम्मू, पंजाब, राजस्थान, गुजरात, नॉर्थ-साउथ बंगाल और गुवाहाटी से लगी 7 सीमाओं के एरिया आॅफ रिस्पॉन्सिबिलिटी में स्थापित किया जा रहा है। 635 कमजोर पैच में से 328 पर काम पूरा हो चुका है। बीएसएफ के फील्ड फॉर्मेशन को बॉर्डर पर होने वाली घुसपैठ या दूसरी हरकतों का पता लगाने और निगरानी करने के लिए 6 आॅप्टिकल टाइम-डोमेन रिफ्लेक्टोमीटर (ओटीडीआर) और स्पल्सिर मशीनें दी गई हैं। इनके अलावा 16 अवाया पॉइंट-टू-पॉइंट अपग्रेड करने लायक वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग एंडपॉइंट प्रदान किए गए हैं।
बीएसएफ डीजी ने बताया कि पश्चिमी सीमा पर फील्ड यूनिट्स ने जिन 81 ड्रोन को बरामद किया उनका एनालिसिस करने के लिए दिल्ली के तिगरी कैंप में एक ड्रोन फोरेंसिक लैब बनाई गई है। इस लैब से मिलने वाले रिजल्ट को संबंधित विभागों और अधिकारियों से शेयर किया जा रहा है।