10 दिसंबर 2025 (बुधवार) का पंचांग। जानें पौष माह, कृष्ण पक्ष की षष्ठी तिथि, मघा नक्षत्र, शुभ-अशुभ मुहूर्त और राहुकाल का समय। दैनिक पंचांग और धार्मिक महत्व की पूरी जानकारी।
By: Star News
Dec 10, 20251:00 AM
धर्म डेस्क. स्टार समाचार वेब
भारतीय ज्योतिष और हिन्दू कैलेंडर के अनुसार, 10 दिसंबर 2025 बुधवार का दिन है। यह दिन भगवान गणेश और माता दुर्गा की पूजा के लिए विशेष रूप से शुभ माना जाता है। इस दिन का पंचांग, जिसमें तिथि, वार, नक्षत्र, योग और करण शामिल हैं, शुभ और अशुभ समय की गणना के लिए महत्वपूर्ण है।
तिथि (Tithi): कृष्ण पक्ष षष्ठी
यह तिथि दोपहर 01 बजकर 46 मिनट (PM) तक रहेगी, इसके बाद सप्तमी तिथि का आरंभ हो जाएगा।
पौष मास के कृष्ण पक्ष की यह षष्ठी तिथि, धार्मिक कार्यों और उपवास के लिए महत्वपूर्ण है।
वार (Day): बुधवार (Wednesday)
बुधवार का दिन भगवान गणेश को समर्पित होता है। इस दिन बुद्धि, विद्या और व्यवसाय से जुड़े कार्यों को करना शुभ माना जाता है।
नक्षत्र (Nakshatra): मघा
मघा नक्षत्र 11 दिसंबर को सुबह 02 बजकर 44 मिनट (AM) तक रहेगा।
मघा नक्षत्र के स्वामी पितर और राशि सिंह होती है। यह नक्षत्र राजसी गुणों और नेतृत्व क्षमता का प्रतीक है।
योग (Yoga): वैधृति
वैधृति योग दोपहर 12 बजकर 46 मिनट (PM) तक रहेगा।
यह योग ज्योतिष में सामान्यतः शुभ नहीं माना जाता है, इसलिए इस दौरान शुभ कार्य टालने चाहिए।
करण (Karana): वणिज
वणिज करण दोपहर 01 बजकर 46 मिनट (PM) तक रहेगा। इसके बाद विष्टि (भद्रा) करण का आरंभ होगा, जो रात्रि 01 बजकर 45 मिनट (AM) तक रहेगा।
वणिज करण को शुभ माना जाता है, लेकिन भद्रा काल में शुभ कार्य वर्जित होते हैं।
मास (Month):
विक्रम संवत: 2082 (कालयुक्त)
शक संवत: 1947 (विश्वावसु)
मास (पूर्णिमांत): पौष
चंद्र राशि (Moon Sign): सिंह
चंद्रमा पूरे दिन-रात सिंह राशि में संचार करेंगे।
सूर्य राशि (Sun Sign): वृश्चिक
सूर्य वृश्चिक राशि में स्थित रहेंगे।
दिशाशूल (Directional Fault): उत्तर
बुधवार को उत्तर दिशा की यात्रा से बचना चाहिए। यदि यात्रा आवश्यक हो तो धनिया खाकर निकलना शुभ होता है।
किसी भी शुभ कार्य को करने से पहले शुभ और अशुभ समय का ध्यान रखना आवश्यक है।
ब्रह्म मुहूर्त (Brahma Muhurta): सुबह 05:14 AM से 06:09 AM तक।
अभिजीत मुहूर्त (Abhijit Muhurta): आज यह मुहूर्त उपलब्ध नहीं है। (कई पंचांगों के अनुसार अभिजीत मुहूर्त हर दिन उपलब्ध नहीं होता है)
विजय मुहूर्त (Vijaya Muhurta): दोपहर 01:57 PM से 02:39 PM तक।
राहुकाल (Rahu Kalam): दोपहर 12:14 PM से 01:32 PM तक।
राहुकाल के दौरान कोई भी नया या महत्वपूर्ण कार्य शुरू नहीं करना चाहिए।
गुलिक काल (Gulika Kalam): सुबह 10:56 AM से 12:14 PM तक।
यमगण्ड (Yamaganda): सुबह 08:21 AM से 09:39 AM तक।
दुर्मुहूर्त (Dur Muhurtam): सुबह 11:58 AM से 12:40 PM तक।
भद्रा (Bhadra): दोपहर 01:46 PM से 11 दिसंबर 01:45 AM तक।
भद्रा में शुभ कार्य (जैसे विवाह, गृह प्रवेश) वर्जित हैं।
सूर्योदय (Sunrise): सुबह 07:03 AM
सूर्यास्त (Sunset): शाम 05:25 PM
चंद्रोदय (Moonrise): रात्रि 11:11 PM
चंद्रास्त (Moonset): अगले दिन (11 दिसंबर) सुबह 11:39 AM
10 दिसंबर, बुधवार के दिन षष्ठी तिथि है, जो संतान के सुख और स्वास्थ्य के लिए माता षष्ठी की पूजा के लिए भी महत्वपूर्ण मानी जाती है। इसके अलावा, बुधवार का दिन होने के कारण, इस दिन भगवान गणेश की पूजा, दूर्वा अर्पित करना और मोदक का भोग लगाना विशेष फलदायी होता है। गणेश जी की कृपा से कार्यों में आने वाली बाधाएं दूर होती हैं और बुद्धि तथा विवेक की प्राप्ति होती है।