मऊगंज पुलिस अधीक्षक दिलीप सोनी ने जनसुनवाई को तकनीक से जोड़ते हुए सभी थानों के प्रभारियों को वीडियो कांफ्रेंस के माध्यम से जोड़ा। फरियादियों की समस्याओं को मौके पर ही सुना गया और थाने स्तर पर त्वरित कार्रवाई के आदेश दिए गए। यह पहल ग्रामीण क्षेत्रों के लोगों को जिला मुख्यालय आने की जरूरत से राहत देती है।
By: Yogesh Patel
Aug 01, 20258 hours ago
हाइलाइट्स
मऊगंज, स्टार समाचार वेब
मऊगंज जिले के पुलिस अधीक्षक आईपीएस दिलीप कुमार सोनी ने कानून व्यवस्था और जनसुनवाई को सुदृढ़ बनाने के लिये एक नवाचार किया है। उन्होंने जनसुनवाई के दौरान जिले के तमाम थाना प्रभारियों को वीडियो कांफ्रेंस के माध्यम से जोड़ा और इसके बाद पीड़ितों की समस्या को सुना। इस दौरान मौके पर ही उन्होंने थाना प्रभारियों को शिकायत पर प्रभावी कार्यवाही करने का आदेश दिया।
इसका उद्देश्य यह सुनिश्चित करना था कि दूरस्थ क्षेत्रों में निवास करने वाले नागरिक भी अपने नजदीकी थाने से जुड़कर पुलिस अधीक्षक से सीधे संवाद कर सकें। जिससे उन्हें जिला मुख्यालय तक आने की आवश्यकता न पड़े और उनकी समस्याओं का समाधान सहजता से हो सके। इस जनसुनवाई में मऊगंज, शाहपुर, लौर, हनुमना एवं नईगढ़ी थानों के थाना प्रभारियों, संबंधित विवेचकों एवं अधिकारियों ने समयबद्ध एवं सक्रिय सहभागिता दर्ज की। प्रत्येक फरियादी की समस्याओं को गंभीरतापूर्वक सुना गया और संबंधित अधिकारियों को वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से तत्काल दिशा-निर्देश प्रदान किए गए, जिससे शिकायतकर्ताओं को मौके पर ही समाधान की आशा मिली।
जनसेवा का सशक्त माध्यम बनाया
एसपी का कहना है कि जनसुनवाई को हमने केवल एक औपचारिक प्रक्रिया न मानते हुए, जनसेवा का सशक्त माध्यम बनाया है। उन्होंने सभी थाना प्रभारियों एवं अधिकारियों की इस अनुकरणीय कार्य के लिए सराहना की तथा यह निर्देश भी दिए गए कि इस नवाचार जनसुनवाई कार्यक्रम को भविष्य में और अधिक प्रभावशाली एवं सुलभ बनाया जाए, जिससे जनसामान्य को समस्या का त्वरित समाधान हो सके।
जनता के बीच सराहनीय कदम
मऊगंज से कई बार ऐसी तस्वीर सामने आई है, जिसमें सत्ता के अनैतिक दबाव के बीच पुलिस को काम करने में काफी समस्याओं का सामना करना पड़ता है। लेकिन इन तमाम दबाव के बाद भी पुलिस अधीक्षक दिलीप सोनी की यह पहल जनता के मन में पुलिस के प्रति विश्वास जगाने का काम कर रही है। लोगों का कहना है कि इस तरह से यदि जनसुनवाई में पीड़ितों की समस्या सुनी जायेगी तो निश्चित तौर पर उन्हें न्याय मिलेगा। यदि कोई थाना प्रभारी या विवेचक लापरवाही करता है तो उसकी करतूत भी सामने आ जाएगी।