उज्जैन के महाकाल मंदिर में 22 अक्टूबर को गर्भगृह में हुए महंत और पुजारी विवाद पर बड़ा फैसला लिया गया है। मंदिर समिति ने दोनों पर 15 दिन के लिए विशेष दर्शन और गर्भगृह में प्रवेश पर प्रतिबंध लगा दिया है। साथ ही, 27 अक्टूबर से शुरू हो रही कार्तिक-अगहन मास की सवारी की तैयारियों पर चर्चा हुई, जिसमें महाकाल बैंड मुख्य आकर्षण रहेगा।
By: Ajay Tiwari
Oct 26, 20251 hour ago
उज्जैन: स्टार समाचार वेब. धर्म डेस्क
मध्य प्रदेश की धार्मिक नगरी उज्जैन में स्थित विश्व प्रसिद्ध महाकाल मंदिर की प्रबंधक कमेटी ने शनिवार शाम एक महत्वपूर्ण बैठक की। इस बैठक में आगामी कार्तिक-अगहन मास की सवारी की तैयारियों पर चर्चा के साथ ही मंदिर के गर्भगृह में हुए एक विवाद पर कड़ा निर्णय लिया गया।
विवाद पर समिति का बड़ा फैसला
प्रबंधक समिति ने तीन दिन पहले (22 अक्टूबर) गर्भगृह में हुए ऋणमुक्तेश्वर के महंत और महावीर नाथ के पुजारी महेश शर्मा के बीच हुए झगड़े की जांच रिपोर्ट के आधार पर फैसला लिया है। समिति ने दोनों ही पक्षों पर अगले 15 दिनों के लिए विशेष दर्शन और गर्भगृह में प्रवेश पर प्रतिबंध लगा दिया है। इस अवधि के दौरान दोनों सिर्फ आम दर्शनार्थी की तरह ही मंदिर में दर्शन कर सकेंगे। समिति के इस निर्णय को विवाद को समाप्त करने की दिशा में एक बड़ा कदम माना जा रहा है, क्योंकि इस विवाद से मंदिर की गरिमा प्रभावित हुई थी।
विवाद का कारण
यह विवाद 22 अक्टूबर की सुबह शुरू हुआ था, जब महंत महावीर नाथ, गोरखपुर से आए संत शंकरनाथ के साथ दर्शन के लिए महाकाल मंदिर पहुंचे थे। गर्भगृह में पुजारी शर्मा ने महंत के सिर पर बंधे फेटे को लेकर आपत्ति जताई, जिसके बाद बहस शुरू हुई और दोनों में वहीं भिड़ंत हो गई। मामले की गंभीरता को देखते हुए प्रशासक प्रथम कौशिक ने तुरंत एक तीन सदस्यीय जांच कमेटी का गठन किया, जिसकी रिपोर्ट के आधार पर यह कार्रवाई की गई है।
कार्तिक-अगहन सवारी की व्यवस्थाएँ
कलेक्टर रोशन सिंह ने बताया कि बाबा महाकाल की कार्तिक-अगहन मास की सवारी 27 अक्टूबर से शुरू हो रही है। मंदिर प्रबंध समिति की बैठक में सवारी के रूट, सुरक्षा व्यवस्था और अन्य इंतजामों को लेकर सभी विभागों को उनकी जिम्मेदारियां सौंप दी गई हैं।
महाकाल बैंड होगा मुख्य आकर्षण
इस बार सवारी में पहली बार शामिल होने वाला महाकाल बैंड श्रद्धालुओं के लिए विशेष आकर्षण का केंद्र रहेगा। इसके अलावा, 3 नवंबर को होने वाले हरिहर मिलन की सवारी में केवल अनुमोदित (अनुमति प्राप्त) आतिशबाजी की जा सकेगी।
कार्तिक-अगहन मास में सवारी की तिथियां:
27 अक्टूबर: कार्तिक मास की प्रथम सवारी।
03 नवंबर: कार्तिक मास की द्वितीय सवारी।
03 नवंबर: रात 11 बजे हरिहर मिलन की सवारी।
10 नवंबर: अगहन मास की पहली सवारी।
17 नवंबर: कार्तिक-अगहन मास की राजसी सवारी।