मध्यप्रदेश विधानसभा का मानसून सत्र दो दिन की छुट्टी के बाद सोमवार से फिर शुरू हुआ। जहां खाद, हेलमेट, आदिवासी और कुपोषण को लेकर विपक्ष के विधायक मुखर नजर आए। कांग्रेस विधायक जयवर्धन सिंह ने कहा कि आदिवासियों की जमीन जबरन छीनी जा रही है। हेलमेट के बिना पेट्रोल नहीं देने पर परिवहन मंत्री राव उदय प्रताप सिंह ने कहा कि हर चीज कानून में जरूरी नहीं है।
By: Arvind Mishra
Aug 04, 2025just now
मध्यप्रदेश विधानसभा का मानसून सत्र दो दिन की छुट्टी के बाद सोमवार से फिर शुरू हुआ। जहां खाद, हेलमेट, आदिवासी और कुपोषण को लेकर विपक्ष के विधायक मुखर नजर आए। कांग्रेस विधायक जयवर्धन सिंह ने कहा कि आदिवासियों की जमीन जबरन छीनी जा रही है। हेलमेट के बिना पेट्रोल नहीं देने पर परिवहन मंत्री राव उदय प्रताप सिंह ने कहा कि हर चीज कानून में जरूरी नहीं है। कुछ चीज सामाजिक स्तर पर जरूरी है। वहीं विधानसभा में प्रश्न उत्तर काल के दौरान विधायक श्रीकांत चतुर्वेदी के सवाल के जवाब में मंचायत मंत्री प्रह्लाद सिंह पटेल ने कहा कि मैहर विधानसभा क्षेत्र में जनपद पंचायत मैहर की कस्बे क्षेत्र से नई जनपद पंचायत के गठन की प्रक्रिया चल रही है। मध्यप्रदेश प्रशासनिक इकाई पुनर्गठन आयोग इसके लिए गठित किया है। इसकी रिपोर्ट के आधार पर आगे कार्रवाई की जाएगी। इसके लिए समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। श्रीकांत चतुर्वेदी ने राजस्व मंडल बहेरा को जनपद पंचायत मुख्यालय बनाने के मामले में सरकार से सवाल किया था।
सीएम डॉ. मोहन यादव ने सदन में प्रदेश के आदिवासी जिलों में वन अधिकार के दावेदार के प्रकरणों को खारिज कर बेदखल करने से उत्पन्न स्थिति पर ध्यानाकर्षण में कहा कि आदिवासियों को कई लाभ दिए गए हैं। हमारी सरकार ठोस कदम उठा रही है। हम विपक्ष की सकारात्मक सलाह को लेने के लिए तैयार हैं। आदिवासी पट्टों और आदिवासियों के विकास के लिए दलगत राजनीति से ऊपर उठकर काम करेंगे। आदिवासी ग्राम में बरसात के समय आवास छीनना और आवास तोड़ना बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। अधिकारियों को इसके बारे में निर्देश दिए गए हैं। ऐसा नहीं होना चाहिए।
आदिवासियों के पट्टे के मामले में मुख्यमंत्री ने सदन में कहा कि भाजपा सरकार के कार्यकाल में ही सबसे अधिक 26,500 पट्टे बांटे गए हैं। जन जातीय कार्य मंत्री विजय शाह ने सदन में ध्यान आकर्षण प्रस्ताव पर जवाब देते हुए कहा कि सैटेलाइट इमेज के जरिए दिसंबर 2005 की स्थिति की जानकारी लेकर वन अधिकार पट्टों के मामले में निर्णय किया जाएगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि इस व्यवस्था के माध्यम से 2005 की स्थिति में किसका कब्जा था यह भी साफ हो जाएगा। पट्टों को वितरण की स्थिति भी स्पष्ट हो जाएगी।
भाजपा विधायक राजेंद्र पांडे ने रतलाम जिले में जिला पंचायत जनपद पंचायत ग्राम पंचायत के माध्यम से 2022-23 से किए जा रहे कार्यों की जानकारी मांगी। उन्होंने सघन पौधरोपण, सामुदायिक पौधरोपण, नक्षत्र वाटिका, मां की बगिया की जानकारी मांगी। इसके जवाब में पंचायत मंत्री ने कहा कि विधायक ने जो जानकारी मांगी थी, वह पूरी जानकारी दी गई है। उन्होंने कहा कि जनपदों को विकास कार्यों के लिए प्रोत्साहित करने का काम किया जा रहा है। जिन जनपदों का काम करने का रेशियो अच्छा था, उन्हें 3 करोड़ दिए गए हैं। 2022-23 में रतलाम में 34 प्रस्ताव आए थे। इसमें से 13 प्रस्ताव स्वीकृत गए। वर्तमान वर्ष में 1011 काम शुरू हुए।
भाजपा विधायक रामनिवास शाह ने प्रश्नकाल के दौरान कहा कि सीधी को सिंगरौली से अलग हुए करीब 17 वर्ष हो चुके हैं। लेकिन सिंगरौली में आज तक केंद्रीय सहकारी बैंक की स्थापना नहीं हुई है। इस कारण लोगों को 120 किमी दूर सीधी जाना पड़ता है। इस पर सहकारिता मंत्री विश्वास सारंग ने कहा कि यह समस्या अकेले सिंगरौली जिले की नहीं है। प्रदेश में 55 जिले बने हुए हैं जिसमें 38 जिलों में ही सहकारी बैंक का मुख्यालय है। नाबार्ड व आरबीआई के नॉर्म्स के कारण अन्य जिलों में मुख्यालय नहीं खुल पा रहे हैं। जहां मुख्यालय नहीं है वहां क्षेत्रीय कार्यालय खोले जाएंगे। इसके साथ ही उनमें नोडल अधिकारी नियुक्त होंगे। इससे लोगों को परेशानी का सामना नहीं करना पड़ेगा।
भाजपा विधायक नीना वर्मा ने सहकारिता विभाग में हुए तबादले के मामले में ट्रांसफर नीति के नियमों की पालन न होने का मामला उठाया। उन्होंने कहा कि धार जिले में तृतीय श्रेणी कर्मचारियों के जिला तबादला बोर्ड से अग्रेषित स्थानांतरण प्रस्ताव पर सहकारिता विभाग द्वारा नीति लागू नहीं होना बताकर तबादले नहीं किए। क्या इस मामले में दोषी अफसर पर कार्रवाई की जाएगी। मंत्री ने कहा कि यह स्थानीय स्तर पर बोर्ड के मामले में लिए जाने वाले फैसले का मामला है। जिसमें विधायक को स्पष्ट जानकारी दी जाएगी।
खातेगांव विधायक आशीष शर्मा ने कहा कि मेरे विधानसभा क्षेत्र में आदिवासियों पर बारिश के मौसम में जो कार्रवाई की गई थी, उसे लेकर मैंने भी अधिकारियों पर कार्रवाई की मांग की है। कांग्रेस बेवजह आदिवासियों के नाम पर राजनीति कर रही है।
झाबुआ विधायक विक्रांत भूरिया ने कहा कि कुपोषित बच्चों पर सरकार मात्र 8 रुपए प्रति बच्चा खर्च कर रही है। इधर, मंत्रियों के एक दिन के नाश्ते पर 19,000 के ड्राई फ्रूट मंगाए जाते हैं। यह आदिवासी और कुपोषित बच्चों के साथ भेदभाव है।
विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने सवाल उठाया कि शिक्षा विभाग में फर्जी सॉल्वेंसी के माध्यम से कारोबार किए जा रहे हैं। 2010 में इसको लेकर हुई जांच में अब तक जांच प्रतिवेदन नहीं आया है। इसके जवाब में उच्च शिक्षा मंत्री इंदर सिंह परमार ने कहा कि अपर कलेक्टर के फर्जी हस्ताक्षर से साल्वेंसी जारी करने का मामला सामने आने के बाद इस मामले में जांच बताई गई और कार्रवाई की गई। जिस रजिस्ट्री के नाम पर सॉल्वेंसी जारी की गई थी वह रजिस्ट्री ही फर्जी निकली है। इसके आधार पर 2025 में उस कॉलेज की मान्यता समाप्त कर दी गई है। उसमें एफआईआर भी कराई जाएगी। सिंघार ने कहा कि उन्होंने अंतिम जांच प्रतिवेदन मांगा जिस पर सरकार जवाब नहीं दे रही है। इसे लेकर 2024 में भी शिकायत हुई थी। इसके बाद डिटेल जांच की गई है। यह कॉलेज अमन एजुकेशन सोसाइटी के आधार पर खुला है। इसके संचालक विधायक आरिफ मसूद है।