मेजर जनरल कार्तिक सी शेषाद्रि ने बताया कि भारतीय सेना को सूचना थी कि पाकिस्तान मिलिट्री के साथ साथ नागरिक संस्थानों को भी निशाना बना सकता है।
By: Prafull tiwari
May 19, 20255 hours ago
चंडीगढ़। आपरेशन सिंदूर से बौखलाए पड़ोसी देश ने पाकिस्तान ने ड्रोन से भारत के कई ठिकानों को निशाना बनाने की कोशिश की थी। इसमें अमृतसर का गोल्डन टैंपल और पंजाब के कई शहर भी शामिल थे। लेकिन भारत लेकिन भारत के एयर डिफेंस सिस्टम ने उन्हें धराशायी कर दिया था। सेना ने आठ मई को हुए नाकाम हमले के बारे में अब खुलासा किया है। जनरल आॅफिसर कमांडिंग (जीओसी) मेजर जनरल कार्तिक सी. शेषाद्री ने सोमवार को बताया कि सेना के एयर डिफेंस गनर्स ने गोल्डन टेंपल की ओर निशाना कर छोड़े गए सभी ड्रोन और मिसाइलों को मार गिराया। इसमें आकाश मिसाइल ने भी बड़ी भूमिका निभाई थी।
मेजर जनरल कार्तिक सी शेषाद्रि ने बताया कि भारतीय सेना को सूचना थी कि पाकिस्तान मिलिट्री के साथ साथ नागरिक संस्थानों को भी निशाना बना सकता है। वहीं धार्मिक संस्थान भी पाकिस्तान के निशाने पर थे। श्री हरमंदिर साहिब एक प्राइम टारगेट था। उन्होंने यह भी बताया कि आठ मई को तड़के पाकिस्तान की तरफ से स्वर्ण मंदिर पर भारी हमले का प्रयास किया गया था। हम पहले से सतर्क थे इसलिए हमने सभी ड्रोन और मिसाइल को हवा में ही नष्ट कर दिया और श्री हरमंदिर साहिब को आंच नहीं आने दी। उन्होंने कहा कि इस हमले के लिए हम पूरी तरह से तैयार थे क्योंकि हमें इसकी आशंका थी। हमारे बहादुर और सतर्क आर्मी एयर डिफेंस गनर्स ने पाकिस्तानी सेना के नापाक इरादों को असफल कर दिया और गोल्डन टेंपल पर टारगेटेड सभी ड्रोन और मिसाइलों को मार गिराया। इस तरह हमने हमारे गोल्डन टेंपल पर एक खरोंच भी नहीं आने दी।
भारतीय सेना पेशेवर और जिम्मेदार फोर्स
उन्होंने कहा कि भारतीय सेना पेशेवर और जिम्मेदार फोर्स है, जिसने हमेशा बिना उकसावे के संयमित तरीके से ही जवाब दिया है। हमने सटीक हथियारों से सिर्फ आतंकी ठिकानों पर ही हमला किया है, जिसे पाकिस्तानी सेना ने भी स्वीकार किया है। वहीं, पाकिस्तानी सेना के पास भारत पर हमला करने के लिए कोई वैध टारगेट नहीं है और ना ही पाकिस्तानी सेना के पास भारतीय सेना का सामना करने का साहस और क्षमता है। पाकिस्तान राष्ट्रीय नीति के तौर पर आतंकवाद का इस्तेमाल करता है। पाकिस्तान ने अपनी जमीं से मानवरहित हवाई हथियारों का इस्तेमाल किया। मेजर जनरल ने कहा कि भारतीय सेनाओं ने आॅपरेशन सिंदूर के दौरान सटी निशाने के साथ पाकिस्तान में कई जगह हमले किए। बहावलपुर और मुरिदके जैसे आतंकी गढ़ों पर हमला किया गया। इन नौ आतंकी ठिकानों में से मुरिदके लश्कर-ए-तैयबा का हेडक्वार्टर है जबकि बहावलपुर जैश-ए-मोहम्मद का अड्डा है।
पाकिस्तानी सेना भारतीय सेना का सामना करने में असमर्थ
मेजर जनरल कार्तिक सी शेषाद्रि ने कहा कि बार-बार हार के बाद, पाकिस्तानी सेना पारंपरिक अभियानों में भारतीय सेना का सामना करने में असमर्थ है। इसने अपने सैन्य कार्यों को सुविधाजनक रूप से प्रॉक्सी और आतंकवादियों को सौंप दिया है। पाकिस्तानी सैन्य चौकियां अक्सर हमारी चौकियों पर गोलीबारी करके घुसपैठ को बढ़ावा देती हैं, ताकि हमारा ध्यान आतंकवादियों की घुसपैठ से भटक जाए। हम उन स्थानों से अच्छी तरह वाकिफ हैं, जहां नदी के किनारे या दुर्गम इलाकों के कारण सीमा पर बाड़ या तो कमजोर है या है ही नहीं। हमने इन स्थानों को हत्या के मैदान में बदल दिया है, जबकि बेहतर रणनीति और हथियारों के साथ भारी नुकसान और क्षति पहुंचाकर पाकिस्तानी सैन्य चौकियों को दंडित किया है। यदि कोई घुसपैठ सफल हो जाती है, तो पुलिस और सीएपीएफ के साथ एकीकृत खुफिया नेटवर्क द्वारा, हमारी त्वरित प्रतिक्रिया टीमों द्वारा तकनीक और रणनीति के संयोजन से घुसपैठियों को तुरंत निष्प्रभावी कर दिया जाता है।