लोकसभा ने हेल्थ सिक्योरिटी से नेशनल सिक्योरिटी सेस बिल पारित किया। सिगरेट और पान मसाला जैसे हानिकारक उत्पादों पर अतिरिक्त टैक्स लगेगा, जिससे जुटा फंड सुरक्षा और स्वास्थ्य ढांचे को मजबूत करेगा।
By: Ajay Tiwari
Dec 05, 20256:02 PM
हाइलाइट्स
नई दिल्ली, स्टार समाचार वेब
संसद के शीतकालीन सत्र में लोकसभा ने हेल्थ सिक्योरिटी से नेशनल सिक्योरिटी सेस बिल को मंजूरी दे दी। विधेयक के कानून बनने के बाद सिगरेट, पान मसाला और अन्य हानिकारक उत्पादों पर अतिरिक्त टैक्स लगाया जाएगा। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बताया कि इस सेस से जुटाई गई राशि राष्ट्रीय सुरक्षा और सार्वजनिक स्वास्थ्य ढांचे को मजबूत करने में उपयोग की जाएगी।
दो दिन की बहस के बाद पारित
दो दिनों की लंबी बहस के बाद पारित हुए इस बिल से पान मसाला जैसे उत्पाद महंगे होने तय हैं। चर्चा के दौरान वित्त मंत्री ने कहा कि कारगिल युद्ध के समय सैन्य तैयारियों की कमी और सीमित बजट के कारण देश को भारी नुकसान झेलना पड़ा था। उस समय सेना के पास केवल 70-80% अधिकृत हथियार और जरूरी उपकरण उपलब्ध थे। उन्होंने कहा कि सरकार दोबारा ऐसी स्थिति आने नहीं देना चाहती।

सेस केवल डीमेरिट गुड्स पर ही
सीतारमण ने बताया कि यह सेस केवल डीमेरिट गुड्स पर ही लागू होगा और आम नागरिकों पर किसी भी तरह का अतिरिक्त बोझ नहीं डाला जाएगा। उनका कहना था कि हाई टेक वॉरफेयर के इस दौर में प्रिसिजन वेपन्स, स्पेस टेक्नोलॉजी और साइबर क्षमताओं में भारी निवेश जरूरी है। यह सेस स्वास्थ्य जोखिम कम करने और सुरक्षा क्षमता बढ़ाने दोनों में मदद करेगा।
कुछ सांसदों ने किया बिल का विराेध
विपक्ष के कुछ सांसदों, जिनमें हनुमान बेनीवाल और शशिकांत सेंथिल शामिल थे ने बिल का विरोध किया और पान मसाला कंपनियों के विज्ञापनों पर सवाल उठाए। हालांकि, वित्त मंत्री ने स्पष्ट किया कि सेस का पूरा ढांचा संसद की मंजूरी से संचालित होगा और इसका उद्देश्य राष्ट्र की सुरक्षा और सार्वजनिक स्वास्थ्य के लिए पर्याप्त संसाधन जुटाना है।