भारतीय विज्ञापन जगत को बड़ा झटका लगा है। विज्ञापन के जादूगर के नाम से मशहूर पीयूष पांडे का निधन हो गया है। उन्होंने 70 साल की उम्र में मुंबई में आखिरी सांस ली। अबकी बार मोदी सरकार और ठंडा मतलब कोका कोला समेत कई मशहूर विज्ञापन लिखे थे।
By: Arvind Mishra
Oct 24, 202510 hours ago
नई दिल्ली। स्टार समाचार वेब
भारतीय विज्ञापन जगत को बड़ा झटका लगा है। विज्ञापन के जादूगर के नाम से मशहूर पीयूष पांडे का निधन हो गया है। उन्होंने 70 साल की उम्र में मुंबई में आखिरी सांस ली। अबकी बार मोदी सरकार और ठंडा मतलब कोका कोला समेत कई मशहूर विज्ञापन लिखे थे। दरअसल, विज्ञापन लिखने के लिए मशहूर पीयूष पांडे अब हमारे बीच नहीं रहे। उन्होंने चार दशकों से ज्यादा वक्त तक ओगिल्वी इंडिया के साथ काम किया। पीयूष पांडे 1982 में ओगिल्वी से जुड़े थे। उन्होंने 27 साल की उम्र में अंग्रेजी-प्रभुत्व वाले विज्ञापन उद्योग में प्रवेश किया और इसे हमेशा के लिए बदल दिया। बिजनेसमेन सोहेल सेठ ने पीयूष पांडे के निधन पर सोशल मीडिया अकाउंट पर शोक जताया। उन्होंने लिखा- मेरे सबसे प्यारे दोस्त पीयूष पांडे जैसे जीनियस के खोने से मैं बहुत ज्यादा दुखी और टूट गया हूं। भारत ने सिर्फ़ एक महान एडवरटाइजिंग माइंड ही नहीं, बल्कि एक सच्चे देशभक्त और एक बहुत अच्छे इंसान को खो दिया है। सोहेल सेठ ने कहा कि अब स्वर्ग में मिले सुर मेरा तुम्हारा पर डांस होगा। वहीं फिल्ममेकर हंसल मेहता ने लिखा-फेविकोल का जोड़ टूट गया। आज एड वर्ल्ड ने अपना ग्लू खो दिया। पियूष पांडे, आप अच्छे से जाएं।
केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने सोशल मीडिया पोस्ट में लिखा- पद्मश्री पीयूष पांडे के निधन पर अपनी उदासी जाहिर करने के लिए मेरे पास शब्द नहीं हैं। विज्ञापन की दुनिया में एक महान हस्ती, उनकी क्रिएटिव जीनियस ने कहानी कहने के तरीके को फिर से परिभाषित किया और हमें यादगार और हमेशा याद रहने वाली कहानियां दीं। मेरे लिए, वह एक ऐसे दोस्त थे, जिनकी चमक उनकी सच्चाई, गर्मजोशी और हाजिरजवाबी में दिखती थी। मैं हमेशा उनके साथ हुई अपनी दिलचस्प बातचीत को याद रखूंगा। वह अपने पीछे एक गहरा खालीपन छोड़ गए हैं, जिसे भरना मुश्किल होगा। उनके परिवार, दोस्तों और चाहने वालों के प्रति मेरी गहरी संवेदनाएं।
पीयूष पांडे का जन्म 1955 में जयपुर के एक परिवार में हुआ था। उनके नौ भाई-बहन थे, जिनमें सात बहनें और दो भाई शामिल थे। पीयूष पांडे के पिता एक बैंक में काम करते थे। पांडे ने कई सालों तक क्रिकेट भी खेला था। उन्होंने एशियन पेंट्स के लिए हर खुशी में रंग लाए, कैडबरी के लिए कुछ खास है और फेविकोल और हच जैसे ब्रांडों के लिए विज्ञापन बनाए।