पूर्व श्रीलंकाई राष्ट्रपति रानिल विक्रमसिंघे को भ्रष्टाचार के मामले में गिरफ्तारी के करीब तीन बाद जमानत मिल गई है। बता दें कि इस गिरफ्तारी के बाद उनकी तबीयत बिगड़ गई थी, जिसके बाद वे कोलंबो नेशनल हॉस्पिटल में भर्ती कराए गए थे और वहीं से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए कोर्ट की कार्यवाही में शामिल हुए।
By: Sandeep malviya
Aug 26, 2025just now
कोलंबो। श्रीलंका के पूर्व राष्ट्रपति रानिल विक्रमसिंघे को मंगलवार को एक अदालत ने जमानत दे दी। उन्हें बीते शुक्रवार पुलिस की आपराधिक जांच विभाग (सीआईडी) ने भ्रष्टाचार के आरोपों में गिरफ्तार किया था। बता दें कि रानिल विक्रमसिंघे को गिरफ्तार कर कोलंबो फोर्ट मजिस्ट्रेट कोर्ट में पेश किया गया। अदालत ने उन्हें 26 अगस्त तक रिमांड पर जेल भेज दिया। इसके बाद उन्हें राजधानी कोलंबो की मैगजीन रिमांड जेल में रखा गया।
स्वास्थ्य बिगड़ा, आईसीयू में भर्ती
गिरफ्तारी के बाद पूर्व राष्ट्रपति रानिल विक्रमसिंघे की तबीयत बिगड़ गई। पहले उन्हें जेल अस्पताल में भर्ती किया गया, लेकिन हालत गंभीर होने पर उन्हें कोलंबो नेशनल हॉस्पिटल के आईसीयू में शिफ्ट किया गया। मामले में बताया गया कि उन्हें डिहाइड्रेशन की समस्या हो गई थी।
वर्चुअल तरीके से अदालत में पेश हुए विक्रमसिंघे
मंगलवार को जब अदालत में सुनवाई हुई तो रानिल विक्रमसिंघे अस्पताल के आईसीयू से ही जूम के जरिए कार्यवाही में शामिल हुए। बता दें कि अदालत की कार्यवाही कोलंबो फोर्ट मजिस्ट्रेट निलुपुली लंकापुरा की अध्यक्षता में हुई।
पूर्व राष्ट्रपति पर क्या हैं आरोप?
रानिल विक्रमसिंघे पर आरोप है कि उन्होंने 16.6 मिलियन श्रीलंकाई रुपये (एलकेआर) यानी करोड़ों रुपये सरकारी फंड से खर्च किए। यह रकम उन्होंने 2023 में लंदन यात्रा पर खर्च की थी। इस दौरान उन्होंने अपनी पत्नी मैत्री के विश्वविद्यालय दीक्षांत समारोह में हिस्सा लिया। आरोप है कि यह निजी यात्रा थी और इसे सरकारी दौरे के नाम पर फंड किया गया।
विक्रमसिंघे ने सभी आरोपों को किया खारिज
पूर्व श्रीलंकाई राष्ट्रपति रानिलि विक्रमसिंघे ने सभी आरोपों को खारिज किया है। उनका कहना है कि यह यात्रा पूरी तरह आधिकारिक दौरा था, क्योंकि उन्हें यह निमंत्रण श्रीलंका के राष्ट्रपति होने के नाते मिला था, न कि निजी तौर पर।
श्रीलंकाई अदालत का फैसला और विरोध
भारी सुरक्षा व्यवस्था और अदालत परिसर के बाहर हो रहे विरोध प्रदर्शनों के बीच, अदालत ने रानिल विक्रमसिंघे को जमानत दे दी। यह मामला श्रीलंका की राजनीति में बड़ी हलचल पैदा कर रहा है। एक ओर विरोधी दल इसे सत्ता के दुरुपयोग का उदाहरण बता रहे हैं, वहीं विक्रमसिंघे और उनके समर्थक इसे राजनीतिक बदले की कार्रवाई करार दे रहे हैं।