प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प से फोन पर बातचीत की, जो लगभग 35 मिनट तक चली। बातचीत के दौरान पीएम मोदी ने ट्रम्प को ऑपरेशन सिंदूर के बारे में जानकारी दी।
By: Arvind Mishra
Jun 18, 20251 hour ago
नई दिल्ली। स्टार समाचार बेव
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प से फोन पर बातचीत की, जो लगभग 35 मिनट तक चली। बातचीत के दौरान पीएम मोदी ने ट्रम्प को ऑपरेशन सिंदूर के बारे में जानकारी दी। वहीं ट्रंप ने पीएम मोदी से पूछा कि क्या वह कनाडा से लौटने पर अमेरिका आ सकते हैं। पीएम ने पूर्व कार्यक्रमों का हवाला देते हुए ऐसा करने में असमर्थता जताई। विदेश सचिव विक्रम मिसरी ने इस बात की जानकारी दी है। दरअसल, कनाडा में आयोजित जी7 शिखर सम्मलेन को बीच में ही छोड़कर अमेरिका लौटे डोनाल्ड ट्रंप से प्रधानमंत्री मोदी ने बात की है। इस दौरान आतंकवाद के खिलाफ भारत की लड़ाई और आॅपरेशन सिंदूर पर बात हुई। इस दौरान पीएम मोदी ने साफ किया कि भारत और पाकिस्तान के बीच संघर्ष विराम पड़ोसी मुल्क के आह्वान के बाद दोनों देशों की आपसी सहमति से ही हुआ। इसमें किसी की भी मध्यस्थता नहीं थी और न ही किसी ट्रेड डील पर बात हुई थी। बातचीत ऐसे वक्त हुई है, जब पीएम मोदी आज जी7 में हिस्सा लेने के बाद कनाडा से क्रोएशिया रवाना हुए हैं।
विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने कहा-जी7 शिखर सम्मेलन के दौरान पीएम मोदी और राष्ट्रपति ट्रंप की मुलाकात तय थी। ट्रंप को जल्दी अमेरिका लौटना पड़ा, जिसके कारण यह मुलाकात नहीं हो सकी। इसके बाद राष्ट्रपति ट्रंप के अनुरोध पर आज दोनों नेताओं ने फोन पर बात की। 22 अप्रैल को पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद राष्ट्रपति ट्रंप ने पीएम मोदी से फोन पर बात कर संवेदना जताई थी और आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में समर्थन भी जताया था। उसके बाद यह पहली बार था, जब वे बात कर रहे थे। इसलिए पीएम मोदी ने ऑपरेशन सिंदूर पर राष्ट्रपति ट्रंप से विस्तार से बात की।
विक्रम मिस्री ने बताया कि पीएम मोदी ने राष्ट्रपति ट्रंप से साफ-साफ कहा कि इस पूरे घटनाक्रम के दौरान कभी भी और किसी भी स्तर पर भारत-अमेरिका ट्रेड डील या भारत-पाकिस्तान मध्यस्थता जैसे विषयों पर बात नहीं हुई थी। सैन्य कार्रवाई रोकने के बात सीधे भारत और पाकिस्तान की सेनाओं के बीच मौजूद चैनल के जरिए हुई थी। पाकिस्तान के आग्रह के बाद ही यह बातचीत हुई थी।
पीएम मोदी ने कहा कि भारत ने न कभी मध्यस्थता स्वीकार की थी, न करता है और न ही कभी करेगा। इस विषय पर भारत में पूर्ण रूप से राजनीतिक एकमत है। ट्रंप ने मोदी की ओर से बताई गई बातों को समझा और आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई के प्रति समर्थन व्यक्त किया। पीएम ने यह भी कहा कि भारत आतंकवाद को अब प्रॉक्सी वॉर नहीं, बल्कि युद्ध के रूप में ही देखता है। भारत का ऑपरेशन सिंदूर अभी भी जारी है।
राष्ट्रपति ट्रंप और प्रधानमंत्री मोदी ने इजरायल-ईरान के बीच चल रहे संघर्ष पर भी चर्चा की। रूस-यूक्रेन तनाव पर दोनों ने सहमति जताई कि जल्द से जल्द शांति के लिए, दोनों पक्षों में सीधी बातचीत आवश्यक है। इसके लिए प्रयास करते रहना चाहिए। इंडो-पैसिफिक क्षेत्र के संबंध में दोनों नेताओं ने अपने परिपेक्ष साझा किए। इस क्षेत्र में क्यूयूएडी की अहम भूमिका के प्रति समर्थन जताया। क्यूयूएडी की अगली बैठक के लिए, पीएम मोदी ने राष्ट्रपति ट्रंप को भारत यात्रा का निमंत्रण दिया। ट्रंप ने निमंत्रण स्वीकार करते हुए कहा कि मैं भारत आने के लिए उत्सुक हूं।