दीपावली का पर्व भारतीय संस्कृति का अहम हिस्सा है, जिसे पूरे देश में बेहद धूमधाम से मनाया है। वहीं, संयुक्त राष्ट्र की संस्था यूनेस्को ने इसे अपनी अमूर्त सांस्कृतिक विरासत सूची में शामिल कर लिया है। दिल्ली स्थित लाल किले में यूनेस्को की बैठक का आयोजन हुआ।
By: Arvind Mishra
Dec 10, 20251:57 PM

नई दिल्ली। स्टार समाचार वेब
दीपावली का पर्व भारतीय संस्कृति का अहम हिस्सा है, जिसे पूरे देश में बेहद धूमधाम से मनाया है। वहीं, संयुक्त राष्ट्र की संस्था यूनेस्को ने इसे अपनी अमूर्त सांस्कृतिक विरासत सूची में शामिल कर लिया है। दिल्ली स्थित लाल किले में यूनेस्को की बैठक का आयोजन हुआ। इस दौरान यूनेस्को ने दीपावली को इंटेन्जिबिल कल्चरल हेरिटेज की लिस्ट में शामिल करने का फैसला लिया है। यह भारत के लिए गर्व का पल है। यह पहली बार है जब देश में यूनेस्को की बैठक देखने को मिली है। इस बैठक में भारतीय सांस्कृति की पहचान दीपावली अब आईसीएच का हिस्सा बन चुकी है। यूनेस्को की यह बैठक 8 दिसंबर से 13 दिसंबर तक चलेगी। यूनेस्को ने जैसे ही आईसीएच की सूची में संशोधन करते हुए दीपावली को शामिल किया, वैसे ही हर तरफ वंदे मातरम् और भारत माता की जय का शंखनाद हो गया।
पीएम नरेंद्र मोदी ने भी इसपर खुशी जाहिर करते हुए एक्स पर एक पोस्ट शेयर की है। पोस्ट में लिखा- देश और दुनिया के लोगों में गजब का उत्साह है। दीपावली हमारी संस्कृति और मूल्यों के बेहद करीब है। यह हमारी सभ्यता की आत्मा है। यह ज्ञान और धर्म का प्रतीक है। यूनेस्को की अमूर्त विरासत सूची का हिस्सा बनने के बाद दीपावली को दुनियाभर में और अधिक लोकप्रियता मिलेगी। मैं उम्मीद करता हूं कि प्रभु श्रीराम के आदर्श हमेशा ऐसे ही शाश्वत में हमारा मार्गदर्शन करते रहें।
यूनेस्को ने अब तक भारत की 15 चीजों को अमूर्त सांस्कृतिक सूची में शामिल किया है। इस सूची में कुंभ मेले से लेकर बंगाल की दुर्गा पूजा, गुजरात का गरबा, योग, रामलीला और वैदिक मंत्रों का उच्चारण जैसे नाम शामिल हैं। इसके अलावा रामायण की पारंपरिक परफॉर्मेंस का नाम भी इस सूची में दर्ज किया जा चुका है।