पश्चिम बंगाल के मतदाताओं के लिए बड़ी और चौंकाने वाली खबर है। निर्वाचन आयोग ने विशेष गहन पुनरीक्षण के तहत राज्य की मतदाता सूची का ड्राफ्ट जारी कर दिया है। मतदाता अब चुनाव आयोग की आधिकारिक वेबसाइट और मोबाइल ऐप के जरिए आसानी से अपना नाम जांच सकते हैं।
By: Arvind Mishra
Dec 16, 202512:20 PM
नई दिल्ली। स्टार समाचार वेब
पश्चिम बंगाल के मतदाताओं के लिए बड़ी और चौंकाने वाली खबर है। निर्वाचन आयोग ने विशेष गहन पुनरीक्षण के तहत राज्य की मतदाता सूची का ड्राफ्ट जारी कर दिया है। मतदाता अब चुनाव आयोग की आधिकारिक वेबसाइट और मोबाइल ऐप के जरिए आसानी से अपना नाम जांच सकते हैं। वहीं आयोग ने राज्य में 2026 की ड्राफ्ट इलेक्टोरल रोल से 58.20 लाख वोटरों के नाम हटा दिए हैं। दरअसल, पश्चिम बंगाल में अगले साल होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले मंगलवार सुबह चुनाव आयोग ने उन मतदाताओं के नामों की सूची अपनी वेबसाइट पर जारी कर दी, जिन्हें 2026 की ड्राफ्ट इलेक्टोरल रोल से हटा दिया गया है। ये नाम 2025 की मतदाता सूची में थे, लेकिन अब इन्हें बाहर कर दिया गया है। यह कदम एसआईआर 2026 के तहत उठाया गया है। दावा किया जा रहा है कि 58.20 लाख एसआईआर फॉर्म अमान्य पाए गए, यानी इन्हें जमा नहीं किया जा सका या सत्यापन नहीं हो सका। आयोग के अनुसार राज्य में 58 लाख 20 हजार 898 वोटरों के नाम हटाने के लिए चिन्हित किए गए हैं। इनमें 24 लाख 16 हजार 852 नाम मृत वोटरों के हैं। 19 लाख 88 हजार 76 वोटर ऐसे हैं जो स्थायी रूप से दूसरी जगह चले गए हैं। इसके अलावा 12 लाख 20 हजार 38 वोटर लापता, 1 लाख 38 हजार 328 डुप्लिकेट या फर्जी, और 57 हजार 604 नाम अन्य कारणों से हटाने के प्रस्ताव में हैं।
हटाए गए नामों के मुख्य कारण
मतदाताओं के नामों को हटाने की वजहें साफ हैं। कई मतदाता अपने दर्ज पते पर नहीं मिले। कुछ स्थायी रूप से कहीं और शिफ्ट हो गए, तो कुछ की मौत हो चुकी है। इसके अलावा, कुछ नाम एक से ज्यादा विधानसभा क्षेत्रों में डुप्लीकेट पाए गए। आयोग का कहना है कि मतदाता सूची को साफ-सुथरा और सटीक बनाने के लिए यह जरूरी कदम है। यह सूची अभी आयोग की पोर्टल पर उपलब्ध है।
दावे सही साबित होने पर जुड़ेगा नाम
अगर किसी का नाम गलती से हटा दिया गया है, तो घबराने की जरूरत नहीं है। आयोग ने साफ कहा है कि प्रभावित व्यक्ति ड्राफ्ट रोल जारी होने के बाद दावा कर सकते हैं। इसके लिए फॉर्म 6 भरना होगा। साथ में डिक्लेरेशन फॉर्म और जरूरी दस्तावेज लगाने होंगे। दावे और आपत्तियां दर्ज करने की अवधि 16 दिसंबर 2025 से 15 जनवरी 2026 तक रहेगी। इस दौरान कोई भी व्यक्ति अपनी शिकायत दर्ज करा सकता है। आयोग इन दावों पर सुनवाई करेगा और सही पाए जाने पर नाम वापस जोड़ा जाएगा।
राज्य में अगले साल विधानसभा चुनाव
पश्चिम बंगाल की 294 सीटों वाली विधानसभा के लिए चुनाव अगले साल की शुरुआत में होने हैं। मौजूदा विधानसभा का कार्यकाल मई 2026 तक है, इसलिए मार्च-अप्रैल में चुनाव कराए जाने की संभावना है। इस बार मतदाता सूची की सफाई को लेकर काफी चर्चा हो रही है, क्योंकि यह सीधे चुनाव के नतीजों पर असर डाल सकती है। आयोग का यह कदम मतदाता सूची को अपडेट करने का हिस्सा है, ताकि फर्जी या गैर-मौजूद नामों से छुटकारा मिल सके।